09-Apr-2025
INS वर्षा
विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी
चर्चा में क्यों?
भारत वर्ष 2026 तक परमाणु ऊर्जा चालित पनडुब्बियों के लिये एक विशेष नौसैनिक अड्डे INS वर्षा का उपयोग शुरू करने के लिये तैयार हो रहा है। यह अड्डा विशाखापत्तनम के करीब आंध्र प्रदेश के पूर्वी तट पर रामबिल्ली गाँव के पास बनाया जा रहा है।
INS वर्षा क्या है?
- INS वर्षा एक उच्च सुरक्षा वाला नौसैनिक अड्डा है, जो विशेष रूप से परमाणु पनडुब्बियों के लिये बनाया गया है- मिसाइल ले जाने वाली पनडुब्बियों (SSBN) और हमलावर मिशनों के लिये बनी पनडुब्बियों (SSN) दोनों के लिये।
- यह प्रोजेक्ट वर्षा का हिस्सा है, जो भारत की पनडुब्बी शक्ति को सशक्त करने और समुद्र-आधारित परमाणु रक्षा में सुधार करने की दीर्घकालिक योजना है।
- इसका बेस 20 वर्ग किलोमीटर में विस्तारित होगा और इसमें कम से कम 10 परमाणु पनडुब्बियाँ रखी जा सकेंगी।
- इसमें पनडुब्बियों को छुपाने के लिये भूमिगत सुरंगें और बाड़े शामिल हैं, ताकि वे बंगाल की खाड़ी में गुप्त रूप से अंदर-बाहर आ-जा सकें।
INS वर्षा: महत्त्व
- पूर्वी नौसेना कमान (लगभग 50 किमी. दूर) के निकट होने के कारण, यह परिचालनों के लिये आसान पहुँच प्रदान करता है।
- रामबिल्ली के निकट गहरे पानी (डीप वाटर) के कारण पनडुब्बियों को उपग्रह द्वारा पता लगाए जाने से बचने में सहायता मिलती है, ठीक वैसे ही जैसे हैनान द्वीप पर चीन का बेस है।
- यह गुप्तचरता (stealth) विशेष रूप से SSBN के लिये महत्त्वपूर्ण है, जो परमाणु मिसाइलों को ले जाते हैं और लंबी समुद्री गश्त के दौरान छिपे रहने की आवश्यकता होती है।