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इतिहास
महात्मा गांधी की जयंती
« »03-Oct-2024
चर्चा में क्यों?
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 2 अक्तूबर 2024 को पटना में महात्मा गांधी की 155वीं जयंती के अवसर पर नवनिर्मित बापू टावर का लोकार्पण किया। गांधी जयंती हर साल 2 अक्तूबर को मनाई जाती है।
महात्मा गांधी के बारे में
- प्रारंभिक जीवन एवं शिक्षा
- जन्म: 2 अक्तूबर 1869 को पोरबंदर, गुजरात में।
- मृत्यु: 30 जनवरी 1948।
- उन्हें भारत में 'राष्ट्रपिता' के रूप में सम्मानित किया गया, वे देश भर के लोगों को प्रेरित करते रहते हैं।
- उनके पिता करमचंद गांधी पोरबंदर राज्य के एक सम्मानित दीवान (मुख्यमंत्री) थे और उनकी माँ पुतलीबाई एक अत्यंत धार्मिक और देखभाल करने वाली महिला थीं।
- वह 1888 में 18 वर्ष की आयु में कानून की पढ़ाई करने के लिये लंदन चले गए और कानून की पढ़ाई पूरी करने के बाद 1891 में भारत लौट आये।
- उन्होंने 1891 में भारत में अपनी वकालत शुरू की लेकिन सफलता पाने के लिये संघर्ष किया।
- 1893 में उन्होंने दक्षिण अफ्रीका में एक भारतीय फर्म के लिये वकील के रूप में कार्य करने का अनुबंध स्वीकार कर लिया।
- दक्षिण अफ्रीका में रहते हुए गांधीजी को नस्लीय भेदभाव का प्रत्यक्ष अनुभव हुआ, जिसका उन पर गहरा प्रभाव पड़ा।
- दक्षिण अफ्रीका में नस्लीय अन्याय के उनके अनुभवों ने उन्हें ऐसे अन्याय के विरुद्ध लड़ने के लिये प्रेरित किया।
भातीय राष्ट्रीय आंदोलन में गांधीजी का योगदान
- गांधीजी ने अपना पहला महत्त्वपूर्ण सार्वजनिक प्रदर्शन फरवरी 1916 में बनारस हिंदू विश्वविद्यालय (BHU) के उद्घाटन के दौरान किया था।
- उन्होंने भारतीय राष्ट्रवाद को अधिक समावेशी तथा भारतीय जनसंख्या के सभी वर्गों का प्रतिनिधित्व करने वाला बनाने की इच्छा व्यक्त की।
- गांधी जी द्वारा किये गए प्रमुख जन आंदोलन
- चंपारण सत्याग्रह (1917)
- अहमदाबाद मिल हड़ताल (1918)
- खेड़ा सत्याग्रह (1918)
- रौलट एक्ट के विरुद्ध सत्याग्रह (1919)
- असहयोग आंदोलन (1921-22)
- सविनय अवज्ञा आंदोलन (1930-34)
- भारत छोड़ो आंदोलन (1942)
- गांधीजी की प्रमुख रचनाएँ
- द स्टोरी ऑफ माय एक्सपेरिमेंट्स विद ट्रूथ (1927)
- हिंद स्वराज ओर इंडियन होम रूल(1909)
- सत्याग्रह इन साउथ अफ्रीका(1928)
- की टू हेल्थ (1948)
- कंस्ट्रक्टिव प्रोग्राम: इट्स मीनिंग एंड प्लेस (1941)
- इंडिया ऑफ माय ड्रीम्स (1947)
- ट्रूथ इस गॉड (1955, मरणोपरांत)
- फ्रॉम येरवदा मंदिर (1932)
- माय रिलिजन (1957, मरणोपरांत)